हर रात वो चाँद दिखता नहीं है ,पर मेरा चाँद तो मेरी आखो में रहता है,
दूर होते होंगे आसमान के तारे,पर मेरा तारा तो मेरे दिल में बसता है ,
लोग कहते है सो जाऊ तो ख्वाब आयेंगे,पर मेरा ख्वाब तो मेरी सासों में बसता है ,
लोग कहते है की वो दूर मुझसे रहता है ,पर उन्हें क्या पता वो मुझमे ही बसता है,
कालिया जो मुस्काई तो लोग कहते है बसंत है,पर मेरा बसंत तो उनकी मुस्कान में है,
वो कहते है तुम अच्छी हो,पर खुदा की कसम नज़रे उनकी खास है जो मुझ में अच्छा देखती है,
पत्तो के झड़ने पर पतझड़ है लोग कहते है,पर जब वो दूर गए तबसे पतझड़ हमको लगता है,
सब कहते है आखो में अश्क है तेरे तब रश्क होता है,ये मोती है अनमोल मेरे गर्व इनपे होता है ,
कुछ तो है खास मेरे पास जो सिर्फ है उनके लिए,इसलिए ये मोती कोहिनूर है मेरे लिए........
दूर होते होंगे आसमान के तारे,पर मेरा तारा तो मेरे दिल में बसता है ,
लोग कहते है सो जाऊ तो ख्वाब आयेंगे,पर मेरा ख्वाब तो मेरी सासों में बसता है ,
लोग कहते है की वो दूर मुझसे रहता है ,पर उन्हें क्या पता वो मुझमे ही बसता है,
कालिया जो मुस्काई तो लोग कहते है बसंत है,पर मेरा बसंत तो उनकी मुस्कान में है,
वो कहते है तुम अच्छी हो,पर खुदा की कसम नज़रे उनकी खास है जो मुझ में अच्छा देखती है,
पत्तो के झड़ने पर पतझड़ है लोग कहते है,पर जब वो दूर गए तबसे पतझड़ हमको लगता है,
सब कहते है आखो में अश्क है तेरे तब रश्क होता है,ये मोती है अनमोल मेरे गर्व इनपे होता है ,
कुछ तो है खास मेरे पास जो सिर्फ है उनके लिए,इसलिए ये मोती कोहिनूर है मेरे लिए........
दिल की बातो को शब्दों में बया करना कोई आपसे सीखे
ReplyDeleteबहुत अच्छा और आप हमें भी ऐसा करना सिखा दीजिये :)
wow..nice lines!!!!!!!!!
ReplyDeletethanks akshay and manoj ji......
ReplyDeleteप्रियंका जी,
ReplyDeleteआज पहली बार आपके ब्लॉग पर आना हुआ......बहुत अच्छी लगी ये पोस्ट......एक सराहनीय प्रयास था ये.....आपके जज़्बात सच्चे और नेक हैं......पर इसको आप एक ग़ज़ल का रूप देती और इसमें कुछ सुधर हो सकता तो .......चार चाँद लग जाते ......मैंने अपनी तरफ से एक कोशिश की है......आप बतायी आप को कैसी लगी मेरी कोशिश......कृपया अन्यथा न लें.....
हर रात वो चाँद दिखता नहीं है ,आसमान पर
पर मेरा चाँद तो हमेशा मेरी आखो में रहता है,
दूर होते होंगे आसमान के तारे, नज़रों से
पर मेरा तारा तो सदा मेरे दिल में बसता है ,
लोग कहते है सो जाओ तो ख्वाब आते हैं,
पर मेरा ख्वाब तो मेरी सासों में बसता है ,
लोग कहते है की वो दूर मुझसे रहता है ,
पर वो क्या जाने , वो तो मुझमे ही बसता है,
कालिया जो मुस्काई तो लोग कहते है बसंत है,
पर मेरा बसंत तो उनकी मुस्कान में बसता है,
कहते हैं पत्तो के झड़ने पर पतझड़ आता है ,
जबसे वो दूर हुए है तबसे पतझड़ हमको लगता है,
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